काशी में गंगा चेतावनी बिंदु से 10 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गई है। 15 गांव और शहर के 10 मोहल्ले प्रभावित हो गए हैं। मणिकर्णिका घाट की गलियों में शवों की कतार लगी है।

गंगा का जलस्तर बढ़ने की वजह से मणिकर्णिका घाट की गलियों में नाव चलने लगी हैं। शवदाह करने के लिए लोगों को कतार लगानी पड़ रही है। गंगा में बाढ़ की वजह से 15 गांव और शहर के 10 मोहल्ले प्रभावित हो चुके हैं। अब तक 436 परिवारों ने अपना घर छोड़ दिया है।

केंद्रीय जल आयोग की ओर जारी बाढ़ बुलेटिन के अनुसार, सुबह आठ बजे गंगा का जलस्तर 69.92 मीटर था और जलस्तर में हर घंटे चार सेंटीमीटर की बढ़ोतरी हो रही थी। शाम चार बजे गंगा ने चेतावनी बिंदु 70.26 को पार कर लिया और जलस्तर 70.28 मीटर था।



केंद्रीय जल आयोग का अनुमान है कि इस वर्ष बाढ़ का कहर भयावह हो सकता है। गंगा के उफान और वरुणा में पलट प्रवाह से दीनदयालपुर, पैगंबरपुर, पुलकोहना, पुराना पुल, रूप्पनपुर और सलारपुर सहित कई तटीय बस्तियों के हालात गंभीर हो गए हैं।



गंगा नदी का जलस्तर अब डराने लगा है। पहाड़ों पर हो रही लगातार बारिश के कारण गंगा और वरुणा नदियों में पानी का स्तर तेजी से बढ़ने की आशंका है। स्थानीय लोग आशंका व्यक्त कर रहे हैं कि आने वाले दो चार दिन तक अगर यही हालात रहे हो जलस्तर खतरे के निशान को भी पार कर सकता है। यह स्थिति 1978 के रिकॉर्ड जलस्तर 73.901 मीटर के करीब होगी।

चिरईगांव क्षेत्र में बाढ़ का संकट गहराने लगा है। बाढ़ का पानी अब उन क्षेत्रों को भी पार कर गया है, जो कुछ दिन पहले ही डूबे थे। यदि पानी का बढ़ाव इसी तरह जारी रहा तो किसानों की सब्जियों की नर्सरी नष्ट हो सकती है।

गंगा का जलस्तर बढ़ने के बाद नगवां नाला से पानी घुसने के कारण नगवां नाला के किनारे से होकर अस्सी पुष्कर तालाब जाने वाले रास्ते पर पानी लग गया है। सिंचाई विभाग के कर्मचारियों की मदद से चैनल गेट को बंद करवाया गया और पानी के निकासी करने के लिए मोटर पंप को चलवाया गया।

बाढ़ी की चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में जनजीवन की सुरक्षा और संभावित आपदा से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए मंडलायुक्त एस राजलिंगम व उपमहानिरीक्षक 11वीं एनडीआरएफ मनोज शर्मा ने संयुक्त रूप से बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का निरीक्षण किया।



गंगा नदी का वर्तमान जलस्तर-70.36
गंगा नदी का चेतावनी बिंदु-70.26
गंगा नदी का खतरे का बिंदु-71.26
गंगा नदी का अधिकतम जलस्तर-73.90

प्रभावित कृषकों की संख्या-294
प्रभावित कृषि क्षेत्रफल-53.6589

कुल विस्थापित परिवार-436
सुरक्षित स्थान पर रहने वाले परिवार-227
बाढ़ राहत शिविर में रहने वाले परिवार-209